रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र

रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र
रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र

रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र

रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र, पति-पत्नी के बीच प्यार के साथ-साथ तकरार भी होता रहता है। कई बार पत्नी प्यार भरी बातें से मान-मनव्वल, मनोरम या रोमांटिक स्थान पर  घूमने-फिरने जाने के वादे और उपहार आदि से मान जाती है।

वैसे स्त्री जब रूठती है तब बात-बात पर मायके चली जाने की भी बात करती है। कमरे में साथ रहते हुए भी बात नहीं करती है। बेड पर साथ नहीं सोती है। ऐसा कर वह अपने पति को एक तरह से डराती है।

रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र
रूठी हुई स्त्री को मनाने का वशीकरण मंत्र

उसे अपनी अहमियत का एहसास करवाती है। यहां तक कि मायके जाकर बैठ भी जाती है। उसे लगता है कि उसके रूप-रंग और यौवन का दीवाना पति उसे जरूरी मनाएगा और फिर वह उसे बेइंतहा प्यार देगा।

होता भी यही है। पति अपनी रूठी बीवी को मनाने के लिए तरह-तरह के उपाय करता है। चाहे जैसे भी हो बीवी को मनाकर ही दम लेता है। हालांकि किसी भी रूठी स्त्री को मनाने के लिए वशीकरण मंत्र और टोटके का सहारा लेना उचित होता है।     

रूठी स्त्री को वशीकरण मंत्र से मनाएं

कोई स्त्री अपने पति से चाहे जितनी भी रूठी क्यों नहीं हो उसे निम्नलिखित वशीकरण के शाबर मंत्र के प्रयोग से मनाया जा सकता है। वह मंत्र है-

मोहिनी माता, भूत पिता, भूत सिर वेताल। 

उड़ ऐं काली ‘नागिन’ को जा लाग। 

ऐसी जा के लाग कि ‘नागिन’ को लग जावै हमारी मुहब्बत की आग। 

न खड़े सुख, न लेटे सुख, न सोते सुख। 

सिन्दूर चढ़ाऊँ मंगलवार, कभी न छोड़े हमारा ख्याल। 

जब तक न देखे हमारा मुख, काया तड़प तड़प मर जाए। 

चलो मन्त्र, फुरो वाचा। दिखाओ रे शब्द, अपने गुरु के इल्म का तमाशा।

यह एक शाबर मंत्र है जिसे पहले से सिद्ध करने की जरूरत नहीं होती है, लेकिन दिए गए तरीके के साथ प्रयोग-विधि अपनाया जाना चाहिए। यह एक साधना है, जिसे पूरे मनोयोग के साथ ईश्वर पर भरोसा कर किया जाना चाहिए। चाहे कितना भी कठोर से कठोर दिल की स्त्री क्यों न हो उसपर इस मंत्र का जबरदस्त असर होता है।

  • सबसे पहले मंत्र में दिए गए नागिन शब्द को निगेटव भाव से नहीं, बल्कि सकारात्मक रूप में लेते हुए उसके रूठी पत्नी या कहें स्त्री का नाम जोड़ लें। 
  •  इस सात दिन के साधना की शुरूआत शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा से 8 दिन पहले किया जाता है। एक शांत और एकांत कमरे में रात्रि के दस बजे स्नान कर साफ धुले हुए कपड़े 
  • कंबल का आसन बिछाएं और उसपर पूरब दिशा की ओर मुंह कर बैठ जाएं। अपने पास जल भरा एक तांबे या पीतल का लोटा रखें। साथ में दीपक व धूपबत्ती आदि से कमरे को सुगंधित करें। अपने समने रूठी स्त्री की तस्वीर रखें।
  • मंत्र जप की शुरूआत करते हुए मन में स्त्री का ध्यान करें। पूरी एकाग्रता के साथ ठीक एक घंटे तक जाप करें। जाप जल्दबाजी के साथ नहीं, बल्कि आराम से करें।  अगर इससे पहले मंत्र कंठस्थ कर लें तब और भी अच्छा होगा। 
  • इस प्रयोग में मंत्र जप की गिनती आवश्यक नहीं है, बल्कि उत्साह-पूर्वक पूर्ण संकल्प और विश्वास के साथ जप करने की जरूरत है। यह लगतार सात दिनों तक करें। आप पाएंगे कि चार-पांच दिनों में ही मायके जा बैठी रूठी स्त्री का बुलावा आएगा।  

बीवी के दिल में बेशुमार मोहब्बत

यह उपाय विशेषकर अरेंज मैरेज करने वाले नवविवाहित जोड़े के लिए है। अगर आप चाहते हैं आपकी नई नवेली बीवी आपसे बेशुमार मोहब्बत करे। तो फिर उसके दिल में अपनी जगह बनाने के लिए वशीकरण का प्रयोग करें। आज के इंटरनेट और स्मार्टफोने के जमाने में मोबाइल के सहारे भी वशीकरण के प्रयोग किए जा सकते हैं।

बवी आगर किसी बात को लेकर रूठ जाए तो उसे मनाने में जरा भी देरी नहीं करें। उसकी रूठी छवि वाली मोबाइल से तस्वीर लें और मुस्कुरात तस्वीर के साथ जोड़कर कवर फोटो बना लें। उसके बाद दिए गए मंत्र को मोबाइल में ही टाइप कर लें। मंत्र है- 

निनामापि चेतांसि, देवी भगवती ही सा!

बलादायकृष्य मोहाय, महामाया प्रयच्छाति!!

मंत्र का वशीकरण प्रयाग इस प्रकार से करें-

  • इस मंत्र का जाप सुबह और शाम दोनो समय में करना चाहिए। सुबह का समय करीब पांच बजे का हो, तो शाम का समय भी रखें। वैसे इसका समय चार से छह के बीच होना चाहिए। 
  • घर के एकांत स्थान पर आसन बिछाकर बैठ जाएं। अपने सामने मोबइल में नाराज पत्नी की तस्वीर खोल लें। इससे पहले उसकी रंगीन प्रिंट भी निकलवा लें और उसे भी मोबाइल के बगल में रखें
  •  उसके बाद दिए गए मंत्र का जाप 112 बार करें। इस जाप को सुबह और शाम दोनों वक्त में करते हुए दो दिनों में साधना पूरी करें। 
  • मंत्र जाप के समय अपने सामने एक गिलास पानी रखें और जाप पूर्ण होने पर उसका कुछ हिस्स तस्वीर के सामने गिरा दंे और बचा पानी पी लें।  

मायके से बुलाने का मंत्र

अगर पत्नी नाराज होकर मायके जा बैठी हो तो उसे नीचे दिए गए मंत्र के जाप से वापस बुलाया जा सकता है। यह कहें कि इस वशीकरण मंत्र के प्रभाव से उसे वापस आने के लिए उतावला किया जा सकता है। मंत्र और जाप का तरीका इस प्रकार होना चाहिए-

  • मंत्र है- ऊँ वश वशु वश्यं (पत्नी का नाम) वश क्रू क्रू स्वाहाः!
  • इस मंत्र का जाप सोमवार के दिन से शुरू करते हुए रविवार तक पूर्ण करना है। प्रातः सूर्योदय से ठीक पहले कम से कम 108 बार और अधिक से अधिक 512 बार करें। साथ में पानी रखे। अपने सामने दीपक जलाएं। बीच-बीच में पानी एक-एक घूंट पीते रहें।
  • जाप के समय पत्नी की कोई तस्वीर सामने रखें या फिर उसका ध्यान करें। इसे कुल सात दिनों तक करें। निश्चित तौर पर इसका असर होगा और वह खुद व खुद वापस आ जाएगी।
  • जाप के बाद भोजपत्र या पान के पत्ते पर स्वर्ण भस्म या केसर से पत्नी का नाम लिखें। उसके बाद मंत्र का एकबार फिर से 51 बार जाप करें।
  • हर दिन पान के पत्ते को एकत्रित करते रहें और सातवें दिन उसे मंदिर में रख आएं।
  • अगर पत्नी बार-बार नाराज होकर मायके चली जाती हो तो उसके वापस आने के बाद भी इस मंत्र का जाप सात दिनों तक करें। इस दौरान कोई मिठाई भी साथ रखें और प्रतिदिन जाप पूर्ण होने के बाद खिला दें।

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वशीकरण देवी, माँ कलिका इस दुनिया मे तंत्र, मंत्र, टोन, टोटके, यन्त्र, कला जादू की आदि शक्ति है. हज़ारो सालो से हमारे अघोरी साधु माँ कलिका के आशिर्वाद से दुनिया का कल्याण इस शक्तियों के द्वारा कर रहे है. कुछ अघोरी बाबा भोलेनाथ से भी ये कृपा प्राप्त करते है. माँ कलिका की कृपा या बाबा भोलेनाथ के कृपा जिस पैर भी हो जाए उसका कोई बाल भी बाका नहीं कर सकता है . हमारे गुरूजी को माँ कलिका की कृपा से वशीकरण सिद्धि प्राप्त है, इस सिद्धि से गुरूजी समाज मे दुखों को ख़तम करना चाहते है. वशीकरण देवी के द्वारा दी गई सिद्धि से इस संसार मे ऐसा कोई भी दुःख नहीं है जो ख़तम नहीं हो सकता हो, सिवाए मरे हुए इंसान को ज़िंदा करना. यदि आप भी किसी करणवाश दुखी है तो गुरूजी को अपना दुःख बताये, यदि आपका दुक्ख निसवार्थ है तो गुरूजी आपकी मनोकामना माँ कलिका के द्वारा दिए गये वशीकरण मंत्र से पूरी करेगे.